जिसे आगे नही ले जाना है उसको क्षमा कर दो

क्षमा वीरस्य भूषणम्” मैं एक दम्पत्ती को जानती हूँ जिन्होंने शादी के पूरे कार्यकाल में कभी शांतिपूर्ण बर्ताव नहीं किया. वे भाई साहब स्वयं एडवोकेट हैं, जिन्दगी भर लोगों के मसले सुलझाते रहे, किन्तु अपने घर का मसला कभी सुलझा नहीं पाए. एडवोकेट साहब स्वयं ही बताया करते कि उनकी शादी से पूर्व जब जन्मपत्री […]